बिहार के भागलपुर जिले के सुल्तानगंज में शनिवार की सुबह एक और गंभीर घटना घटी, जब अगुवानी पुल (Agwani Bridge) का 9 नम्बर का पाया स्लैब और पिलर गंगा नदी (Ganges River) में समा गया। स्थानीय लोगों के अनुसार, यह पुल तीसरी बार गिरा है, और बावजूद इसके निष्पक्ष जांच अब तक नहीं हो पाई है।
गंगा नदी में बाढ़ (flood) और तेज बहाव के कारण पिलर संख्या 9 के ऊपर का स्ट्रक्चर अचानक ढह कर पानी में समा गया। जब स्ट्रक्चर पानी में गिरा, तो स्थानीय लोग मौके पर पहुंचे और कहा कि पुल फिर गिर गया है।
इससे पहले, 30 अप्रैल 2022 की रात को हवा के झोंके से पिलर संख्या पांच गिर गया था। इसके बाद, 4 जून 2023 को, सुल्तानगंज से खगड़िया के अगुवानी गंगा घाट (Agwani Ganga Ghat) पर निर्माणाधीन पुल के पिलर नंबर 10, 11 और 12 अचानक गिरकर नदी में बह गए थे। पुल गिरने की इन घटनाओं ने बिहार में सियासी बवाल खड़ा कर दिया था, और पक्ष-विपक्ष के नेताओं ने एक-दूसरे पर सवाल खड़े किए थे।
ये घटनाएँ भवन विभाग में व्याप्त भ्रष्टाचार की ओर इशारा करती हैं और पुल निर्माण में खराब गुणवत्ता के मेटेरियल के उपयोग की बात को उजागर करती हैं। इसके अलावा, भूमि जांच (land survey) में गड़बड़ीकी भी बात सामने आती है। इस तरह की घटनाएँ बिहार के सरकारी सिस्टम पर गंभीर सवालिया निशाना लगाती हैं, और इस बात की आवश्यकता है कि इस मुद्दे की निष्पक्ष जांच की जाए।
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